भगवान की कृपा से इच्छाएं पूरी करने के लिए तरह-तरह के प्रयास किए जाते हैं, लेकिन सभी लोगों की इच्छाएं पूरी नहीं हो पाती है। भगवान को प्रसन्न करने के लिए हमारा भाव भी ऐसा होना चाहिए कि हम कृपा को प्राप्त कर सके। अहंकार को जितनी जल्दी छोड़ेंगे, परमात्मा की कृपा उतनी ही जल्दी प्राप्त की जा सकती है। …
Read More »admin
ज्योतिष एवं पौराणिक संदर्भों में अमरनाथ यात्रा
अमरनाथ शिवलिंग हिम से निर्मित होता है। यह शिवलिंग अन्य शिवलिंगों की भांति साल भर नहीं रहता है। वर्ष के कुछ महीनों में यहां हिम से स्वयं शिवलिंग का निर्माण होता है। स्वयं हिम से निर्मित शिवलिंग होने के कारण इसे ‘स्वयंभू हिमलिंग शिवलिंग भी कहा जाता है। आषाढ़ पूर्णिमा से शिवलिंग का निर्माण होने लगता है जो श्रावण पूर्णिमा …
Read More »बिग बैंग कहें या शिव की गर्जन
योगिक विज्ञान में भगवान शिव को रूद्र कहा जाता है। रूद्र का अर्थ है वह जो रौद्र या भयंकर रूप में हो। शिव को सृष्टि -कर्ता भी कहा जाता है। आइये जानते हैं कि कैसे शिव के इन्हीं दोनों पक्षों के मेल को ही विज्ञान बिग-बैंग का नाम दे रहा है… आपको पता है आजकल वैज्ञानिक कह रहे हैं कि …
Read More »युद्ध से पहले प्राण गंवा चुके थे ये 4 पांडव, इस पहेली से मिला नया जीवन
पांडवों ने श्रीकृष्ण के मार्गदर्शन में महाभारत का युद्ध जीता था। कौरवों की पराजय हुई और उनके सभी योद्धाओं ने कुरूक्षेत्र की रणभूमि में प्राण गंवाए। वास्तव में यह कहानी यहीं समाप्त नहीं होती। इसमें एक रोचक तथ्य भी है। युद्ध से बहुत पहले 4 पांडव भी प्राण गंवा चुके थे लेकिन बाद में उन्हें प्राणदान दिया गया। युधिष्ठिर की …
Read More »कुंडली में बन रहे हैं तलाक के योग तो हनुमानजी बचा सकते हैं विवाह संजोग
सनातन संस्कृति के मुताबिक मनुष्य जीवन में सोलह संस्कारों को बताया गया है जिसमें सबसे महत्त्वपूर्ण है विवाह का संस्कार। सनातन संस्कृति में शादीशुदा जीवन पति-पत्नी का धार्मिक रूप से इकट्ठे जीवन बिताने का एक सभ्य तरीका है। वैदिक विवाह संस्कार में भावी पति-पत्नी आजीवन साथ रहने और कभी भी एक दूसरे से अलग न होने की कामना रखते हुए …
Read More »