वाल्मीकि रामायण(बाल काण्ड 18/8-10) में उल्लेख है कि राम का जन्म चैत्र शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को अभिजित महूर्त में मध्याह्न में हुआ था।
गणना करने पर यह तिथि ईसा से 5115 वर्ष पूर्व आती है। इस तिथि का उल्लेख तिथि के बारे में तुलसी राम चरितमानस में भी उल्लेख मिलता है। मानस के बाल काण्ड के 190 वें दोहे के बाद पहली चौपाई में तुलसीदास ने भी इसी तिथि और ग्रहनक्षत्रों का जिक्र किया है।
सोलहवें वर्ष में राम और लक्ष्मण ऋषी विश्वमित्र के साथ तपोवन गए। वाल्मीकि रामायण के बाल काण्ड(20/2) में राजा दशरथ विश्वामित्र से कहते हैं कि राम अभी सोलहवें वर्ष में ही हैं। उनमें राक्षसों से युद्ध करने की योग्यता भी नहीं है।
विवाह के समय राम की उम्र 21 वर्ष के लगभग और सीता कि 18 वर्ष थी। कुछ विद्वानों का प्रतिपादन है कि राम और सीता का विवाह किशोऱ अवस्था में ही हो गया था।