भगवान शिव को देवों के देव महादेव कहा जाता है. भोलेनाथ की पूजा के लिए वैसे तो सारे दिन शुभ हैं लेकिन शिवरात्रि का विशेष महत्व बताया गया है. इस दिन भगवान शिव की विधि विधान से पूजा अर्चना की जाए तो हर मनोकामना पूरी होती है. मासिक शिवरात्रि हर माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाई जाती है. इस बार वैशाख माह की शिवरात्रि 6 मई 2024 यानी आज मनाई जा रही है. आज भगवान शिव की पूजा दुर्लभ संयोग में की जा रही है. जिसका भक्तों को विशेष लाभ मिलेगा. इस बारे में अधिक जानकारी दे रहे हैं भोपाल निवासी ज्योतिषी एवं वास्तु सलाहकार पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा साथ ही जानेंगे पूजा विधि और शुभ मुहूर्त.
मासिक शिवरात्रि पर शुभ संयोग
हिंदू पंचाग के अनुसार, मासिक शिवरात्रि हर माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी को मनाई जाती है. आज सोमवार के दिन ही शिवरात्रि का शुभ संयोग बन रहा है. सोमवार का दिन भगवान भोलेनाथ को समर्पित किया गया है और इस दिन शिवरात्रि का बनना बेहद शुभ संयोग माना जा रहा है.
मासिक शिवरात्रि का पूजा मुहूर्त
ज्योतिषी पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा के अनुसार, आज यानी 6 मई को ग्रह-नक्षत्रों के शुभ संयोग से कईं शुभ योग बन रहे हैं. प्रीति योग आज दिन भर रहेगा, साथ ही मातंग नाम के शुभ योग का निर्माण भी हो रहा है. मासिक शिवरात्रि के व्रत में रात के समय पूजा करने का विधान है. आप रात के चारों प्रहर में भोलेनाथ की पूजा कर सकते हैं.
– शाम 6 से रात 9 बजे तक पहला प्रहर
– रात 9 से 12 बजे तक दूसरा प्रहर
– रात 12 से 3 बजे तक तीसरा प्रहर
– तड़के 3 से सुबह 6 बजे तक चौथा प्रहर
मासिक शिवरात्रि की पूजा विधि
– मासिक शिवरात्रि के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि से निवृत्त हो जाएं.
– सीधे हाथ में पानी और चावल लेकर व्रत और पूजा करने का संकल्प लें.
– भोलेनाथ की पूजा के पहले सारी तैयारी करें.
– पूजा घर में शाम 6 बजे से पहले शिवलिंग स्थापित करें और पूजा शुरू करें.
– पूजा में शिवलिंग का विधि विधान से अभिषेक करें.
– अबीर, गुलाल, फूल, रोली, बिल्व पत्र, धतूरा, शमी, अक्षत अर्पित करें.
– पूजा के बाद शिव चतुर्दशी व्रत की कथा पढ़ें और रात जागरण करें.
– अब अंतिम प्रहर की पूजा करें और भगवान शिव को भोग अर्पित करें और आरती करें.