न्याय के देवता शनि देव वर्तमान समय में कुंभ राशि में विराजमान हैं। इस राशि में शनि देव 28 मार्च, 2025 तक रहेंगे। इसके अगले दिन यानी 29 मार्च को शनि देव कुंभ राशि से निकलकर मीन राशि में गोचर करेंगे। अतः वर्तमान समय में मकर कुंभ और मीन राशि के जातक साढ़े साती से पीड़ित हैं। मकर राशि के जातकों को अगामी वर्ष में साढ़े साती से मुक्ति मिल जाएगी। वहीं, मेष राशि के जातकों पर साढ़े साती शुरू हो जाएगी। ज्योतिषियों की मानें तो साढ़े साती के दौरान जातक को विषम परिस्थिति से गुजरना पड़ता है। अगर आप भी साढ़े साती से पीड़ित हैं, तो रोज स्नान-ध्यान के बाद भगवान शिव या कृष्ण की पूजा करें। साथ ही पूजा के समय भगवान शिव के नामों का मंत्र जप करें। शास्त्रों में निहित है कि शनि देव, देवों के देव महादेव के परम भक्त हैं। अतः शिव जी की पूजा करने से शनि देव शीघ्र प्रसन्न होते हैं।
राशि अनुसार मंत्र जप
- ऊँ वराय नमः
- ऊँ अत्रये नमः
- ऊँ अत्र्यानमस्कर्त्रे नमः
- ऊँ मृगबाणार्पणाय नमः
- ऊँ अनघाय नमः
- ऊँ महातपसे नमः
- ऊँ घोरतपसे नमः
- ऊँ अदीनाय नमः
- ऊँ दीनसाधककराय नमः
- ऊँ संवत्सरकराय नमः
- ऊँ मंत्राय नमः
- ऊँ प्रमाणाय नमः
- ऊँ परमन्तपाय नमः
- ऊँ योगिने नमः
- ऊँ योज्याय नमः
- ऊँ महाबीजाय नमः
- ऊँ महारेतसे नमः
- ऊँ महाबलाय नमः
- ऊँ सुवर्णरेतसे नमः
- ऊँ सर्वज्ञाय नमः
- ऊँ सुबीजाय नमः
- ऊँ बीजवाहनाय नमः
- ऊँ दशबाहवे नमः
- ऊँ अनिमिषाय नमः
- ऊँ नीलकण्ठाय नमः
- ऊँ उमापतये नमः
- ऊँ विश्वरूपाय नमः
- ऊँ स्वयंश्रेष्ठाय नमः
- ऊँ बलवीराय नमः
- ऊँ अबलोगणाय नमः
- ऊँ गणकर्त्रे नमः
- ऊँ गणपतये नमः
- ऊँ दिग्वाससे नमः
- ऊँ कामाय नमः
- ऊँ मंत्रविदे नमः
- ऊँ परममन्त्राय नमः
- ऊँ सर्वभावकराय नमः
- ऊँ हराय नमः
- ऊँ कमण्डलुधराय नमः
- ऊँ धन्विते नमः
- ऊँ बाणहस्ताय नमः
- ऊँ कपालवते नमः
- ऊँ अशनिने नमः
- ऊँ शतघ्निने नमः
- ऊँ खड्गिने नमः
- ऊँ पट्टिशिने नमः
- ऊँ आयुधिने नमः
- ऊँ महते नमः
- ऊँ स्रुवहस्ताय नमः
- ऊँ सुरूपाय नमः
- ऊँ तेजसे नमः
- ऊँ तेजस्करनिधये नमः
- ऊँ उष्णीषिणे नमः
- ऊँ सुवक्त्राय नमः
- ऊँ उदग्राय नमः
- ऊँ विनताय नमः
- ऊँ दीर्घाय नमः
- ऊँ हरिकेशाय नमः
- ऊँ सुतीर्थाय नमः
- ऊँ कृष्णाय नमः
- ऊँ श्रृगालरूपाय नमः
- ऊँ सिद्धार्थाय नमः
- ऊँ मुण्डाय नमः
- ऊँ सर्वशुभंकराय नमः
- ऊँ अजाय नमः
- ऊँ बहुरूपाय नमः
- ऊँ गन्धधारिणे नमः
- ऊँ कपर्दिने नमः
- ऊँ उर्ध्वरेतसे नमः
- ऊँ उर्ध्वलिंगाय नमः
- ऊँ उर्ध्वशायिने नमः
- ऊँ नभस्थलाय नमः
- ऊँ त्रिजटाय नमः
- ऊँ चीरवाससे नमः
- ऊँ रूद्राय नमः
- ऊँ सेनापतये नमः
- ऊँ विभवे नमः
- ऊँ अहश्चराय नमः
- ऊँ नक्तंचराय नमः
- ऊँ तिग्ममन्यवे नमः
- ऊँ सुवर्चसाय नमः
- ऊँ गजघ्ने नमः
- ऊँ दैत्यघ्ने नमः
- ऊँ कालाय नमः
- ऊँ लोकधात्रे नमः
- ऊँ गुणाकराय नमः,
- ऊँ सिंहसार्दूलरूपाय नमः
- ऊँ आर्द्रचर्माम्बराय नमः
- ऊँ कालयोगिने नमः
- ऊँ महानादाय नमः
- ऊँ सर्वकामाय नमः
- ऊँ चतुष्पथाय नमः
- ऊँ निशाचराय नमः
- ऊँ प्रेतचारिणे नमः
- ऊँ भूतचारिणे नमः
- ऊँ महेश्वराय नमः
- ऊँ बहुभूताय नमः
- ऊँ बहुधराय नमः
- ऊँ स्वर्भानवे नमः
- ऊँ अमिताय नमः
- ऊँ गतये नमः
- ऊँ नृत्यप्रियाय नमः
- ऊँ नृत्यनर्ताय नमः
- ऊँ नर्तकाय नमः
- ऊँ सर्वलालसाय नमः
- ऊँ घोराय नमः
- ऊँ महातपसे नमः
- ऊँ पाशाय नमः