हिंदू धर्म में मासिक कृष्ण जन्माष्टमी का बेहद महत्व है। फाल्गुन माह में यह पर्व 3 मार्च, 2024 दिन रविवार को मनाया जाएगा। यह दिन भगवान कृष्ण की पूजा के लिए समर्पित है। इस दिन पर भक्त कान्हा की पूजा भाव के साथ करते हैं, जिससे उन्हें उनकी पूर्ण कृपा प्राप्त हो सके। बता दें, मासिक जन्माष्टमी हर माह कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाई जाती है।
मासिक कृष्ण जन्माष्टमी का धार्मिक महत्व
यह दिन कृष्ण भक्तों के लिए बहुत खास है, क्योंकि उनकी पूजा से जीवन के सभी कष्टों को आसानी से दूर किया जा सकता है। यह दिन लड्डू गोपाल के जन्म का प्रतीक है, इसलिए महिलाएं एक स्वास्थ्य संतान की प्राप्ति के लिए इस विशेष दिन का उपवास रखती हैं। मासिक कृष्ण जन्माष्टमी के बारे में यह भी मान्यता है कि इससे पापों का नाश होता है और सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
मासिक कृष्ण जन्माष्टमी पूजा विधि
- भक्त प्रात: उठकर पवित्र स्नान करें।
- अपने मंदिर और पूजा कक्ष की सफाई करें।
- पीले वस्त्र धारण करें।
- एक लकड़ी की चौकी पर भगवान कृष्ण की एक प्रतिमा स्थापित करें।
- पंचामृत से स्नान करवाएं।
- गोपी चंदन या हल्दी का तिलक लगाएं।
- कान्हा को माखन-मिश्री का भोग लगाएं।
- भगवान कृष्ण के मंत्रों का जाप करें।
- आरती के साथ अपनी पूजा को पूरी करें।
- अंत में पूजा में हुई गलती के लिए क्षमा मांगे।
- व्रती अगले दिन प्रसाद खाकर अपने व्रत का पारण करें।
भगवान कृष्ण को इन मंत्रों से करें प्रसन्न
- हरे कृष्ण हरे कृष्ण, कृष्ण कृष्ण हरे हरेहरे राम हरे राम, राम राम हरे हरे
- कृष्णाय वासुदेवाय हरये परमात्मने।प्रणत क्लेशनाशाय गोविन्दाय नमो नम:
- यथोपलब्धपूजनसामग्रीभिः कार्य सिद्धयर्थं कलशाधिष्ठित देवता सहित, श्रीजन्माष्टमी पूजनं महं करिष्ये।
- अनादिमाद्यं पुरुषोत्तमोत्तमं श्रीकृष्णचन्द्रं निजभक्तवत्सलम्। स्वयं त्वसंख्याण्डपतिं परात्परं राधापतिं त्वां शरणं व्रजाम्यहम्।।